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लातेहार : जुबली रोड चौड़ीकरण नहीं होने से हर घंटे लगती है जाम, आम आदमी परेशान

Ashish Tagore Latehar :  शहर के एनएच 75 से जुबली रोड होते हुए नवादा तक जाने के लिए कुल 28.7 किलोमीटर लंबी सड़क की चौड़ीकरण योजना दस वर्ष पहले ही सरकार के स्तर से पारित है. इस दौरान इस सड़क के चौड़ीकरण और मजबूतीकरण के लिए सरकार से दो बार प्राक्कलित राशि की पुनरीक्षित प्रशासनिक स्वीकृति ली जा चुकी है. पिछले कैबिनेट में फिर से इस सड़क की चौड़ीकरण व मजबूतीकरण मद की लागत बढ़ाने के लिए पुनरीक्षित प्राक्कलन पेश किया गया. सरकार ने दूसरी बार चौड़ीकरण के लिए 79.49 करोड रुपये की प्रशासनिक स्वीकृति प्रदान की. इसके बावजूद पथ निर्माण विभाग इस सड़क की मजबूतीकरण व चौड़ीकरण का काम पूरा नहीं कियाहै. इस महत्वपूर्ण पथ की मजबूतीकरण 26 किलोमीटर तक की जा चुकी है. सिर्फ शहर में जुबली रोड में सड़क चौड़ीकरण के कार्य को छोड़ दिया गया है. सड़क चौड़ीकरण नहीं होने से यहां हर घंटे जाम लगती है. इससे लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है.  (पढ़ें, लातेहार">https://lagatar.in/latehar-due-to-the-strike-of-document-navis-sangh-loss-of-crores-to-the-government/">लातेहार

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तीन साल पहले ही पूरी हो गयी है भू-अर्जन की प्रक्रिया, फिर भी नहीं शुरू हो रहा काम

बता दें कि एनएच 75 पर जुबली रोड के मुहाने पर ही सड़क काफी संकीर्ण है. यहां सड़क की चौड़ाई मात्र सात फीट है. उस पर दोनों ओर नालियां रहने के कारण यहां एक साथ दो वाहन नहीं गुजर सकते हैं. एक वाहन गुजरती है तो दूसरे वाहन को इंतजार करना पड़ता है. अगर दोनों वाहन बीच में आ गये तो घंटों सड़क जाम की स्थिति बनी रहती है. जुबली चौक में सड़क चौड़ीकरण के लिए भू-अर्जन की प्रक्रिया लगभग तीन वर्षों पूर्व पूर्ण हो चुकी है. अखबारों में भूमि अधिग्रहण की अधिसूचना भी जारी की जा चुकी है. यहां तक कि रैयतों को नोटिस भी दिया जा चुका है. बावजूद इसके इस सड़क की चौड़ीकरण का कार्य नहीं हो पा रहा है. इसे भी पढ़ें : पलामू">https://lagatar.in/naxalite-organization-threatens-to-kill-zilla-parishad-member-of-palamu/">पलामू

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भवन निर्माण  विभाग ने भवनों की अनुमानित लागत का एसेसमेंट करके नहीं दी 

पथ निर्माण विभाग के कार्यपालक अभियंता का कहना है कि चौड़ीकरण कार्य के लिए कुछ भवनों को हटाने की जरूरत है. इसके लिए भवनों की लागत का एसेसमेंट के लिए भवन निर्माण विभाग को शुल्क जमा किया जा चुका है, लेकिन भवन निर्माण  विभाग ने अभी तक विस्थापित होने वाले भवनों की अनुमानित लागत का एसेसमेंट करके पथ निर्माण विभाग को नहीं दिया है. आज यह सड़क पथ निर्माण व भवन निर्माण एवं भू-अर्जन विभाग के बीच फंस गया है. इसे भी पढ़ें : अमेरिका-ब्रिटेन">https://lagatar.in/us-uk-call-follow-democratic-principles-and-law-in-pakistan/">अमेरिका-ब्रिटेन

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10 वर्षों से की जा रही इस पथ की चौड़ीकरण की मांग 

लातेहार को हेरहंज से सीधा जोड़ने वाली इस महत्वपूर्ण पथ पर राज्य की दूसरी सबसे बड़ी कोल परियोजना तुबेद कोल माइंस पिछले वर्ष शुरू किया गया है. आगामी 30 वर्षों तक संचालित होने वाली इस परियोजना में 8000 मिट्रिक टन कोयला उत्पादन का लक्ष्य रखा गया है. इसी पथ पर बनवारी साहु महाविद्याल, राजकीय पोलिटेक्निक समेत कई सरकारी व गैर सरकारी संस्थान हैं. स्थानीय जन प्रतिनिधि भी इस दिशा में सक्रिय नहीं हैं. लगभग 10 वर्षों से इस पथ की चौड़ीकरण की मांग की जा रही है. इसे भी पढ़ें : J&K">https://lagatar.in/jk-information-about-suspicious-activities-in-poonch-search-operation-of-army-and-police-continues/">J&K

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